India News(इंडिया न्यूज़), Malaria Vaccine: मलेरिया की बीमारी हर साल लाखों लोगों को संक्रमित करती है। लेकिन अब ऐसा नहीं हो पाएगा। क्योंकि WHO ने अब इस मलेरिया की बीमारी से बचने का तरीका निकाल लिया है। इस बीमारी के लिए टीके को मंजूरी दे दी है। इस टीके का उपयोग बच्चों को मलेरिया से बचाने के लिए किया जाएगा। WHO ने 2 अक्टूबर को दूसरे मलेरिया रोधी संयंत्र की स्थापना के लिए जानकारी दी है।
बता दें कि U.k वेबसाइट के अनुसार, इस वैक्सीन को यूनाइटेड किंगडम की ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी ने विकसित किया है। मस्कट-जनित बीमारी के खिलाफ आर21/मैट्रिक्स-एम वैक्सीन के लिए आरटीएस एस/एएस01 वैक्सीन खुराक के 2 साल बाद आता है। इन दोनों के अनुसार, बच्चों में मलेरिया की बीमारी के लिए टीके सुरक्षित और प्रभावी माने जाते है। इस टीकाकरण के बड़े पैमाने पर लागू होने के बाद सार्वजनिक स्वास्थ्य पर इसका उच्च प्रभाव पड़ने की उम्मीद लगाई गई है।
बता दें कि टूकड़े टूकड़े आंकड़ों के अनुसार, अफ़्रीका में बच्चों के लिए मलेरिया की बीमारी विशेष रूप से घातक है।अफ़्रीका में हर साल इस बीमारी से करीबन 5 लाख बच्चों की मौत हो जाती है। इस रसायन को विकसित करने वाले वैज्ञानिक ने बताया कि “एक मलेरिया मृत्यु विशेषज्ञ के रूप में, मैंने उस दिन का सपना देखा था कि जब हमारे पास मलेरिया के खिलाफ एक सुरक्षित टीका होगा। अब हमारे पास दो टीके हैं।”
टेड्रोस के WHO से मलेरिया कि वैक्सीन को मंजूरी मिलने का मतलब साफ है कि GAVI (एक वैश्विक वैक्सीन गठबंधन) और चिल्ड्रन्स फंड यूनिसेफ से वैक्सीन खरीद सकते हैं। मोटोरोला के निदेशक ने कहा कि यह साझेदारी 2024 की शुरुआत में बुर्किना फासो, घाना और नाइजीरिया सहित कुछ अफ्रीकी देशों में लागू हो जाएगी। यह वैक्सीन 2024 के मध्य में अन्य देशों में उपलब्ध होगी और इसकी कीमत 2 से 4 अमेरिकी डॉलर प्रति खुराक (200 रुपये से 350) के बीच होगी।
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