छत्तीसगढ़: छत्तीसगढ़ में जगदलपुर नगर निगम की महापौर सफीरा साहू ने शुक्रवार को बजट पेश किया। इस दौरान कांग्रेस और भाजपा के पार्षदों के बीच जबरदस्त नोंकझोंक हुई। यहां बजट पर चर्चा नहीं बल्कि CG के मंत्री कवासी लखमा, सांसद दीपक बैज समेत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नारों के लिए पार्षद आपस में भीड़ गए। नेता प्रतिपक्ष संजय पांडेय ने भरी सभा में कहा कि, हमने कांग्रेसी नेताओं के मुर्दाबाद के नारे नहीं लगाए। इसी पर कांग्रेसी पार्षद विक्रम डांगी ने टेबल ठोककर धमकी दी की एक बार मुर्दाबाद के नारे लगाकर दिखाओ। इसी धमकी के बाद भाजपाइयों ने सदन छोड़ दिया और वॉक आउट कर दिया। तनातनी का माहौल देखते हुए निगम अध्यक्ष कविता साहू ने बहुतमत के आधार पर बजट पास कर दिया।
1 घंटे तक हुए बवाल के बाद भाजपा के सारे पार्षद आ गए बाहर
करीब 1 घंटे तक हुए बवाल के बाद भाजपा के सारे पार्षद बाहर आ गए। जहां नगर निगम की सीढ़ियों पर बैठकर कांग्रेसी पार्षदों की गुंडागर्दी के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। नेता प्रतिपक्ष संजय पांडेय ने कहा कि, हम लोग बजट पर बहस करना चाहते थे। लेकिन सत्ता पक्ष ने गुंडागर्दी कर बहुतमत के आधार पर बजट पास कर दिया। बजट पर न तो कोई चर्चा हुई और न ही कोई अभिमत लिया गया।
कांग्रेसी पार्षदों ने हमें दी मारने-पीटने की धमकी
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि, योजनाओं के नामों के आगे आबकारी मंत्री कवासी लखमा, सांसद दीपक बैज के नाम लिखे गए हैं। जबकि उन्होंने शहर की जनता के लिए एक रुपए भी अपनी निधि से खर्च नहीं किया। जब सारे कार्य केंद्र सरकार की योजनाओं के किए जा रहे हैं तो बजट डायरी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का नाम क्यों नहीं था? हमने सिर्फ यह सवाल किया था। लेकिन, कांग्रेसी पार्षदों ने हमें मारने-पीटने की धमकी दी।
महापौर बोलीं- सर्वसहमति से पास करवाना चाहती थी बजट
भाजपा पार्षदों के आरोपों के बाद महापौर सफीरा साहू ने कहा कि मैं सर्व सहमति से बजट पास करवाना चाहती थी। लेकिन, विपक्ष नहीं चाहता है कि शहर का विकास हो। विपक्ष का सिर्फ एक ही काम है सत्ता पक्ष के खिलाफ बयानबाजी करना। यदि वाकई विपक्ष शहर का विकास चाहती है तो उन्हें शांतिपूर्वक बैठकर पूरी बातें सुननी थी। हम तैयार थे। दादागिरी की शुरुआत हम लोगों ने नहीं की। उनकी तरफ से हमारे पार्षदों को भड़काने की कोशिश की गई। प्रभारीमंत्री और सांसद के खिलाफ भी बातें की गई। जो गलत था। उन्होंने कहा कि, भाजपाई अंग्रेजों की तरह फूटडालो और राज करो की नीति अपना रहे हैं।