इंडिया न्यूज़, Raipur News: प्रदेश में अब कोरोना का प्रभाव तो काम हो गया है लेकिन इसके बाद जो लोग कोरोना संक्रमित थे, उन्हें अब दिल की बीमारी होने लगी है, जिसके चलते करीब 5 महीने से हार्ट के मरीजों की संख्या रायपुर में आंबेडकर अस्पताल में करीब डेढ़ गुना बढ़ गई है। (Heart weak after recovering from corona infected) पिछले महीने अगस्त में ही करीब 150 से भी ज्यादा मरीज एंजियोप्लास्टी दूसरे कॉर्डियक प्रोसिजर किए गए है यह मरीज दिल की इलाज यूनिट ACI में आए है। पिछले 5 साल की बात करें तो यह संख्या सबसे अधिक है।
राजधानी के दवा बाजार से मिली जानकारी के मुताबिक इस बार दिल की दवाई की बिक्री में करीब 13 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है। हालांकि कहा जा रहा है कि पहले किसी भी माह में 100 से ज्यादा मरीज नहीं आए लेकिन इस बार मरीजों की संख्या 150 के पार पहुंच गई है। AWACS कंपनी की रिपोर्ट के मुताबिक अगस्त माह में दवाइयों की बिक्री सबसे ज्यादा हुई है।
ACI विभाग के अध्यक्ष डॉ. स्मित श्रीवास्तव ने बताया कि बीड़ी और गुड़ाखू के कारण यह बीमारी अब केवल बजुर्ग में ही नहीं अपितु युवाओं में भी हो रही है, करीब 35 फीसदी युवा इस बीमारी से पीड़ित है। वह भी 30 से 40 साल की उम्र के, एक निजी अस्पताल में भी कॉर्डियक प्रोसिजर करने का आंकड़ा सामने आया है।
जानकारी के मुताबिक इंडियन फॉर्मास्युटिकल मार्केट कंपनी ने भी अगस्त में सबसे ज्यादा दवाई बेची है इसमें 12 प्रतिशत से भी ज्यादा वृद्धि दर्ज की गई है। हालांकि पिछले माह में 16 हज़ार 200 करोड़ से भी ज्यादा की दवाई कंपनी ने बेची है इसमें से 226 करोड़ की कॉर्डियक ड्रग की ही बिक्री हुई है। प्रदेश में हर माह 500 करोड़ की दवाई बिकती है, छत्तीसगढ में करीब 14 हज़ार से भी ज्यादा दुकानें दवाई की है। छत्तीसगढ़ के अलावा ओडिशा, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, झारखंड में भी दवाई की मांग बढ़ी है। कोरोना का प्रभाव लगभग ख़त्म होने के कारण भी लोग अस्पताल में ज्यादा जा रहे है : राजीव सिंघल
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