इंडिया न्यूज़, Chhattisgarh News: प्रदेश की राजधानी रायपुर में एक टाइटेनिक जहाज देखकर तो सभी हैरान रह जाएगें। लेकिन यह जहाज न होकर एक पंडाल है (Ganesh pandal)। जिससे भगवन गणेश पंडाल कहा जाता है। अपनी एक अलग पहचान और थीम के कारण ही यह पंडाल एक नई लुक के कारण ही लोगों को अपनी और आकर्षित कर रहा है। (Huge Ganesh pandal built in Raipur) अगर कोई भी इसी बाहर से देखता है तो वह एक विशाल समुद्री जहाज की तरह दिखता है। लेकिन अंदर से यह गणेश पंडाल है।
इस पंडाल को जय भोले ग्रुप के युवाओं ने बनवाया है। इसे बनाने में लगभग 45 दिन का समय लगा है। इस पंडाल को बनाने के लिए कारीगर बंगाल से मंगवाए गए थे। इसको यह रूप देने के लिए और पूर्ण रूप से तैयार करने के लिए 30 से भी ज्यादा कारीगरों ने कार्य किया है। बता दें की यह पंडाल कालीबाड़ी चौक के निकट स्थित है। इसकी ऊंची करीब 60 फिट और लंबाई करीब 105 फिट है। बता दें कि इस जहाज को बनाने का आईडिया हॉलीवुड फिल्म टाइटैनिक में दिखाए जहाज से आया था। जिसके चलते यह जहाज तैयार किया गया।
(Huge Ganesh pandal built in Raipur) समिति के अध्यक्ष कृष्णा साहू और परमवीर सिंह ने कहा कि इस ग्रुप के युवाओं ने पुरे साल की कमाई से हुई बचत को इस पंडाल के लिए बचाकर रखा है । बता दें कि इस समूह में करीब 350 वर्किंग प्रोफेशनल है। इसके लिए कई घरों से चंदा भी इकठा किया है। जिसके उपरांत यह पंडाल तैयार हुआ है। (Expenditure above Rs 20 lakh) इसमें करीब 20 लाख रुपये का खर्च आया है।
(Ganesh pandal) जय भोले ग्रुप ने गणेश प्रतिमा (Ganesh idol) की स्थापना करीब 25 वर्ष पहले ही कर दी थी। इस पंडाल में वीर शहीदों के अलावा छत्तीसगढ़ महतारी की तस्वीरें लगी है। इनके अलावा स्वतंत्रता संग्राम के हीराे वीरनारायण सिंह की भी तस्वीर लगी है। शिवजी बारात के साथ ही पंडाल में भगवान गणेश की मूर्ति भी स्थापित हुई है। जैसे की पहले भी बताया गया है कि इस पंडाल को बनाने में करीब 20 लाख रूपये से ज्यादा का खर्च (Expenditure above Rs 20 lakh) और इसकी लंबाई 105 फिट की है।
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