इंडिया न्यूज़, Durg News: 17 अगस्त को दुर्ग में फिर से डायरिये के मरीज सामने आए है। जिसके चलते करीब 36 मामलों की अभी तक पृष्टि की जा चुकी है। हालांकि पिछले करीब 20 दिन में ही 3 लोगों की मौत भी हो चुकी है। मामले की जानकारी मिलते ही कल एपिडेमियोलॉजिस्ट और आईडीएसपी प्रभारी ने गांव में पहुंचकर जानकारी ली। दुर्ग के धौराभाठा गांव में भी डायरिया के यह मामले मिले है। एक 44 साल की महिला को भी 12 अगस्त को डायरिया हुआ था। जिसके उपरांत परिजनों ने पहले बेरला के ही नागरिक हॉस्पिटल में भर्ती करवाया था। तबीयत में सुधार न होने पर मेकाहारा अस्पताल में रायपुर में भर्ती कर दिया गया।
17 अगस्त को आए 4 नए मरीजों को भी अलग-अलग अस्पताल में भर्ती करवाया गया। जिसके चलते 3 मरीजों में डायरिया होने की बात सामने आई है। बता दें कि 6 मरीज अभी भी यहां के बेरला में दाखिल है। तीन मरीजों को भिलाई में रेफर किया गया है जबकि 3 मरीज सन-साइन हॉस्पिटल में दाखिल है। लगातार नए मामले सामने आने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने गांव में कैंप खोला हुआ है। इसके अलावा गांव में आईडीएसपी प्रभारी डॉ. सीबीएस बंजारे व रितिका सोनवानी भी पहुंचे है।
पिछले करीब 20 दिन में ही 3 लोगों की मौत हो गई है। जिसके चलते पुरे गांव में हलचल है। 31 जुलाई के बाद ही दो महिला और बाबा मोहल्ला के रहने वाले राजेंद्र साहू की भी 16 अगस्त को मौत हो गई थी। उन्हें भी डायरी के कारण बटरेल हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया था। जिसके उपरांत किडनी में भी कुछ खराबी होने से भिलाई में भर्ती करवाया गया। धौराभाठा गांव में भी डायरिये से एक महिला की मौत हो चुकी है। जिसके चलते गांव में कैंप भी लगाया गया। और शुद्ध पानी भी पहुंचाया गया। -डॉ. सीबीएस बंजारे, आईडीएसपी के अनुसार अभी स्थिति नियंत्रण में है।
बस्तर जिले में ही मलेरिया कॉफी हावी होता दिख रहा है। इसके कारण कई लोगों ने जान भी गंवाई है। इसी के चलते स्वास्थ्य विभाग की ओर से अभियान भी चलाया जा रहा है, इसके तहत हर गांव में से लोगों के खून की जांच के लिए सैंपल लिए जाते है। इसके उपरांत उनकी जांच की जाती है। इस अभियान में मलेरिया से बचाव के लिए भी उपाय बताए जाते है।
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