इंडिया न्यूज़,Chhattisagrh : Chhattisgarh Rent Control Act : छत्तीसगढ़ भाड़ा नियंत्रण अधिनियम के तहत दस लाख किराएदारों और मकान मालिकों के लिए नई व्यवस्था लागू हो गई है। इस नई नीति के तहत छोटे शहरों और गांवों के मकान मालिक-किराएदारों को किसी भी विवाद को लेकर नगर निगम के चक्र नहीं लगाने पड़ेगे। अब किसी भी विवाद को नगर पालिका नगर पंचायतों में सुलझा सकेंगे। इस योजन के तहत राज्य सरकार डिप्टी कलेक्टर को भी भाड़ा नियंत्रक अधिकारी बनाने की घोषणा करने वाली है। शहर और गांव के सभी विवाद अब डिप्टी कलेक्टर के पास आएंगे।
जानकारी के अनुसार, शहर के किराएदारों और मकान मालिकों के लिए छत्तीसगढ़ भाड़ा नियंत्रण अधिनियम 2011 राज्य शासन की ओर से बना है। इस अधिनियम को दो हिस्सों में लागू किया गया था। इस अधिनियम के लागू होते ही पहले नगर-निगमों में लागू किया गया, परन्तु इस अधिनियम को राज्य के छोटे स्थानीय निकाय जैसे नगर पालिका, नगर पालिका परिषद एवं नगर पंचायत के लिए राज्य शासन की ओर से लागू नहीं किया गया। इन शहरों में होने वाले विवाद नगर निगम और जिला ट्रिब्यूनल में निपटाए जाते थे।
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