इंडिया न्यूज़, Bastar News (Adiwasi Protest in Chhattisgarh): छत्तीसगढ़ में अधिवासियों ने 5 सितंबर को कावड़गांव स्टेशन पर रेल रोकने की योजना बनाई उनका कहना था कि Covid से पहले कुपेर स्टेशनों और बोदेनार में रेल रोकी जाती थी। (Train Stoppage Demand) लेकिन उसके उपरांत नहीं। हालांकि ग्रामीणों ने इस योजना के बारे में प्रशासन को सूचित नहीं किया। लेकिन सोमवार को सुबह के समय ट्रेन रोकने कि रणनीति से गांव से युवाओं का एक समूह कावड़गांव स्टेशन की और रवाना हो गया।
(Demand to stop train at Bodenar halt) जानकारी के मुताबिक बस्तर के सुदूर वनांचल के पास स्थित गांव बोदेनार के आदिवासियों ने 5 सितंबर को ट्रेन रोकी। जिसके चलते करीब 1 घंटे तक ट्रेन वही रुकी रही क्योंकि युवा बैनर लगाकर ट्रेन की पटरी पर बैठ गए थे। उनकी मांग थी कि किरंदुल रेलखंड के बोदेनार हाल्ट में पैसेंजर ट्रेन को रोकने की अनुमति दी जाए। ग्रामीणों का कहना है कि गांव में जाने के लिए ट्रैन ही एकमात्र सहारा है।
(Train Stoppage Demand) किसी दूसरे शहर से गांव में ट्रेन से ही जाया जाता है। ऐसे में अगर ट्रेन उस स्टेशन पर नहीं रूकती तो उनके लिए गांव में पहुंचना काफी मुश्किल है। जिसके चलते पहले से ही रेल रोकने की नीति बनाई हुई थी। गांव से करीब 8 किलोमीटर दूर कावड़गांव स्टेशन पहुंचकर लोगों ने विशाखापटनम स्पेशल पैसेंजर ट्रेन को रोका।
(Demand to stop train at Bodenar halt) बोदेनार में ट्रैन को रोकने के लिए करीब 100 से भी ज्यादा महिलाऍ, बच्चे, पुरुष ट्रैन की पटरी पर आ गए। एक बैनर के साथ युवा ट्रैन के आगे खड़े हो गए। इसी के चलते RPF के जवानों ने उन युवाओं को समझाया। लेकिन वह अपनी बात पर अड्डे रहे। इसके उपरांत कोड़ेनार थाने से पुलिस को उस स्थान के लिए रवाना किया गया। जिसके उपरांत उन्हें समझाया गया, करीब 9 बजे ट्रेन को वहां से रवाना किया गया। हालांकि ग्रामीणों ने कहा कि अगर हमारी मांग को पूरा नहीं किया गया तो, यह आंदोलन और भी तेज होगा।
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