India News (इंडिया न्यूज़), Rahul Gandhi: सुप्रीम कोर्ट द्वारा ‘मोदी’ उपनाम टिप्पणी मानहानि मामले में राहुल गांधी की सजा पर रोक लगाने पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपना बयान दिया है। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला लोकतंत्र की जीत है और इसके साथ राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य ठहराने की सभी साजिशें विफल हो गई हैं। वे उन्हें संसद से दूर रखना चाहते थे क्योंकि वह सवाल उठाते हैं… हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हैं और उनकी अयोग्यता रद्द की जानी चाहिए।
#WATCH सुप्रीम कोर्ट का फैसला लोकतंत्र की जीत है और इसके साथ राहुल गांधी को लोकसभा से अयोग्य ठहराने की सभी साजिशें विफल हो गई हैं। वे उन्हें संसद से दूर रखना चाहते थे क्योंकि वह सवाल उठाते हैं… हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हैं और उनकी अयोग्यता रद्द की जानी चाहिए:… pic.twitter.com/0looXJ3PjN
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 4, 2023
बता दें सुनावाई जस्टिस बीआर गवई की अध्यक्षता वाली पीठ द्वारा की गई। इस मामले में राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि जज इसे नैतिक अधमता से जुड़ा गंभीर अपराध मानते हैं। यह गैर-संज्ञेय और ज़मानती अपराध है। इस मामले में ना कोई अपहरण किया गया ना ही बलात्कार और ना किसी की हत्या की गई है। फिर ये नैतिक अधमता से जुड़ा अपराध कैसे बन सकता है? साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि लोकतंत्र में हम असहमति रखते हैं। राहुल गांधी कोई कट्टर अपराधी नहीं हैं। राहुल गांधी पहले ही संसद के दो सत्रों से दूर रह चुके हैं।
वहीं मोदी सरनेम’ टिप्पणी मामले में शिकायतकर्ता पूर्णेश मोदी की ओर से पेश वरिष्ठ वकील महेश जेठमलानी ने जबाव दिया कि पूरा भाषण 50 मिनट से अधिक समय का था और भारत के चुनाव आयोग के रिकॉर्ड में भाषण के ढेर सारे सबूत और क्लिपिंग संलग्न हैं। जेठमलानी ने कहा कि उन्होंने (Rahul Gandhi) द्वेषवश एक पूरे वर्ग को बदनाम किया है।
मोदी’ उपनाम टिप्पणी मामले में सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि कोर्ट जानना चाहता है कि अधिकतम सज़ा क्यों दी गई? अगर 1 साल 11 महीने की सजा दी होती तो वे (राहुल गांधी) अयोग्य (लोकसभा सदस्यता) नहीं ठहराए जाते। इस पर जवाब देते हुए याचिकर्ता पूर्णेश मोदी के वकिल महेश जेठमलानी कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने पहले राहुल गांधी को आगाह किया था जब उन्होंने कहा था कि राफेल मामले में शीर्ष अदालत ने प्रधानमंत्री को दोषी ठहराया है। उन्होंने कहा कि उनके आचरण में कोई बदलाव नहीं आया है।
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